कंप्यूटर सॉफ्टवेयर ( Computer Software ) क्या है | एप्लीकेशन एवं सिस्टम सॉफ्टवेयर

कंप्यूटर सॉफ्टवेयर ( Computer Software ) क्या है
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क्या आप जानते है कंप्यूटर सॉफ्टवेयर ( Computer Software ) क्या है | एप्लीकेशन एवं सिस्टम सॉफ्टवेयर क्या होता है इसके कौन कौनसे प्रकार है अगर नहीं तो कोई बात नहीं हमारी इस पोस्ट को आप पूरा पढ़िए जिसमे आप इन सभी के बारे में सरल एवं आसान भाषा में पढ़ सकते है और अपनी परीक्षा की तैयारी के लिए अच्छे से जरूर याद कर लेवें 

कंप्यूटर सॉफ्टवेयर ( Computer Software )

कम्प्यूटर के वह भाग, जिन्हें हम देख सकते हैं, किन्तु स्पर्श नहीं कर सकते हैं, सॉफ्टवेयर कहलाते हैं।

प्रोग्राम या प्रोग्राम के समूह को सॉफ्टवेयर कहा जाता है।

सॉफ्टवेयर कम्प्यूटर को निर्देश देते हैं, कि कम्प्यूटर को क्या व कैसे करना बताता है।

कम्प्यूटर की स्क्रीन पर दिखाई देने वाले प्रोग्राम, निर्देश को सॉफ्टवेयर कहा जाता है, जिसे देखकर हम कार्य करते हैं।

सॉफ्टवेयर अमूर्त होते हैं।

ऐसे सॉफ्टवेयर जो नि:शुल्क उपलब्ध होते हैं उन्हें फ्रीवेयर कहा जाता है।

वह सॉफ्टवेयर जिनके साथ सोर्स कोड भी नि:शुल्क उपलब्ध होते हैं उन्हें ऑपन सोर्स सॉफ्टवेयर कहा जाता है।

ऐसे सॉफ्टवेयर जो किसी समय के लिए ही नि:शुल्क उपलब्ध होते हों तथा बाद में भुगतान करके प्रयोग किया जाता है। उसे शेयरवेयर सॉफ्टवेयर कहते हैं।

कम्प्यूटर में किसी विशेष कार्य के लिए हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर का प्रयोग करना ट्रंकी सॉफ्टवेयर कहलाता है।

प्रोग्राम लिखने वाले व्यक्ति को प्रोग्रामर कहा जाता है।

सॉफ्टवेयर का मुख्य कार्य डेटा को सूचना में परिवर्तित करना है।

सॉफ्टवेयर को कम्प्यूटर की भाषा या सॉफ्टवेयर में ही बनाया जाता है।

सॉफ्टवेयर के प्रकार

1. एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर         

2. सिस्टम सॉफ्टवेयर

3. यूटिलिटी सॉफ्टवेयर

1. एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर

हमारी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए उपयोग में लिए गए प्रोग्राम एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर कहलाते हैं।

ऐसे सॉफ्टवेयर जिस पर सीधे जुड़कर वास्तविक कार्य किए जाते हैं, एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर कहलाते हैं।

एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर बनाने के लिए कम्प्यूटर भाषा का प्रयोग किया जाता है।

एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर विशेष कार्यों को पूरा करने के लिए बनाए जाते हैं।

यह मुख्यत: दो प्रकार के होते हैं

1. सामान्य उद्देश्य सॉफ्टवेयर 

Ms Word, Ms Excel, Ms Power Point, Music, Web browser, आदि।

2. विशेष उद्देश्य सॉफ्टवेयर

रिजर्वेशन सिस्टम, बिलिंग सिस्टम, डेटा बेस मैनेजमेन्ट सिस्टम आदि।

2. सिस्टम सॉफ्टवेयर

कम्प्यूटर के हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर को सिस्टम कहा जाता है अर्थात् कम्प्यूटर को सिस्टम कहा जा सकता है।

सिस्टम हार्डवेयर – कम्प्यूटर में हार्डवेयर को नियंत्रित करने एवं व्यवस्थित करने के लिए उपयोग में लिए जाते हैं।

सिस्टम सॉफ्टवेयर के द्वारा कम्प्यूटर पर उपस्थित हार्डवेयर से कार्य करवाया जाता है।

सिस्टम सॉफ्टवेयर एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर के लिए प्लेटफार्म का कार्य करता है।

कम्प्यूटर के संचालन के लिए सिस्टम सॉफ्टवेयर का उपयोग किया जाता है। इसे सॉफ्टवेयर का आधार भी कहा जाता है।

कम्प्यूटर व हमारे मध्य संवाद भी सिस्टम सॉफ्टवेयर के द्वारा किया जाता है।

सिस्टम सॉफ्टवेयर के बिना कम्प्यूटर को नहीं चलाया जा सकता है।

सबसे मुख्य सिस्टम सॉफ्टवेयर Operating System होता है।

उदाहरण:-  Operating System

Device Drivers

Translator

3. यूटिलिटी सॉफ्टवेयर

यूटिलिटी सॉफ्टवेयर को उपयोगिता वाले सॉफ्टवेयर भी कहा जा सकता है।

यूटिलिटी सॉफ्टवेयर के द्वारा कम्प्यूटर का रखरखाव किया जाता है।

यूटिलिटी सॉफ्टवेयर ऐसे सॉफ्टवेयर होते हैं, जो कम्प्यूटर पर कार्यों को आसान बनाते हैं।

यूटिलिटी सॉफ्टवेयर सिस्टम सॉफ्टवेयर का अनिवार्य भाग नहीं है, परंतु सामान्यत: सिस्टम सॉफ्टवेयर के साथ जुड़कर कार्य करते हैं।

● बग – किसी प्रोग्राम में आने वाली त्रुटि को बग कहा जाता है।

● डिबग – प्रोग्राम में बग को हटाना डिबग कहलाता है।

● डिबगर – यह प्रोग्राम में आने वाली बग की जाँच कर उसे हटाता है। इस सॉफ्टवेयर को डिबगर सॉफ्टवेयर के नाम से जाना जाता है।

● पैच – किसी प्रोग्राम या सॉफ्टवेयर में आने वाली बग को हटाने के लिए सॉफ्टवेयर के द्वारा जो आब्जेक्ट कोड दिए जाते हैं, उन्हें पैच कहा जाता है।

● डिस्क क्लीनअप – कम्प्यूटर में स्टोर अनावश्यक फाइलों को हटाने का कार्य करता है।

● डिस्क फार्मेटिंग – कम्प्यूटर में मेमोरी स्टोरेज डिवाइस को व्यवस्थित करना ताकि डेटा मेमोरी में आसानी से स्टोर हो सके।

● डिस्क फ्रेगमेन्ट – मेमोरी में अलग-अलग स्थानों पर बिखरी फाइलों को एक स्थान पर व्यवस्थित करने के लिए डिस्क फ्रेगमेन्ट का उपयोग किया जाता है।   

जैसे – Antivirus

Disk Compression

Disk defragmenters

Backup

Recovery Software इत्यादि।

● प्रोग्राम – निर्देशों के समूह या श्रृंखला को प्रोग्राम कहा जाता है जिसे कम्प्यूटर की भाषा में लिखा जाता है।

● निर्देश – प्रोग्रामिंग भाषा में प्रोग्राम के लिए कोड लिखे जाते हैं, जिसे निर्देश भी कहा जा सकता है।

● फ्रीवेयर – नि:शुल्क उपलब्ध कराए जाने वाले सॉफ्टवेयर फ्रीवेयर कहलाते हैं।

● फर्मवेयर – यह हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर का संयोजन होता है। कम्प्यूटर की स्थायी मेमोरी रोम में कम्प्यूटर को निर्देश देने के लिए आवश्यक कमाण्ड व निर्देश फर्मवेयर कहलाता है। जैसे – BIOS-ROM

● एल्गोरिदम – प्रोग्राम या निर्देशों को चरणबद्ध लिखने की प्रक्रिया एल्गोरिदम कहलाती है, जिसे डॉक्यूमेन्ट में लिखा जाता है।

● फ्लो चार्ट – एल्गोरिदम के चार्ट को फ्लोचार्ट कहते हैं, इससे Data के Flow को बताया जाता है।

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नीचे कमेंट करके जरूर बताना आपको हमारी इस कंप्यूटर सॉफ्टवेयर ( Computer Software ) पोस्ट के नोट्स कैसे लगे ताकि हम आपके लिए निरंतर ऐसे ही टॉपिक अनुसार नोट्स उपलब्ध करवा सकें 

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